राजेंद्र तिवारी
जगदलपुर, 18 नवम्बर ;अभी तक; अपने मनोरम प्राकृतिक सौंदर्य के लिए विख्यात बस्तर में आने वाले सैलानियों को अब ईको टूरिज्म का लुत्फ उठाने का मौका मिलेगा।
जिला प्रशासन एवं वन विभाग के द्वारा उक्त दिशा में युद्ध स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। कलेक्टर रजत बंसल कलेक्टोरेट जगदलपुर के प्रेरणा कक्ष में आयोजित आमचो इन्द्रावती कठा, लगाऊ बूटा अभियान के अन्तर्गत सड़क किनारे वृक्षारोपण एवं जिले में ईको टूरिज्म को मूर्त रूप देने के संबंध में आयोजित बैठक में अधिकारियों को इस कार्य को शीघ्र पूरा करने के निर्देश दिए हैं। बैठक में कलेक्टर ने जिले में सघन वृक्षारोपण अभियान एवं ईको टूरिज्म को साकार रूप देने हेतु किए जा रहे कार्यों की विस्तृत समीक्षा की। बैठक में वनमण्लाधिकारी जगदलपुर सुश्री स्टायलो मण्ड़ावी एवं वनमण्डलाधिकारी कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान अशोक पटेल, प्रशिक्षु आईएफएस तेजस तथा अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।
बैठक में कलेक्टर ने ईको टूरिज्म के लिए चिन्हिंत किए गए स्थानों में कराए जा रहे निर्माण कार्यों की विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने सभी निर्माण कार्यों का शीघ्र पूरा कराने के निर्देश अधिकारियों को दिए। कलेक्टर श्री बंसल ने कहा कि वनों की रक्षा वनवासी एवं उस क्षेत्र में रहने वाले लोग करते हैं। ईको टूरिज्म के माध्यम से उस क्षेत्र में रहने वाले ग्रामीणों को आर्थिक लाभ होने से वन संसाधनों के प्रति उनका लगाव भी बढ़ेगा। बैठक में पर्यटकों के लिए स्थानीय खाद्य पदार्थों की बिक्री के अलावा खाद्य पदार्थों में बस्तर एवं छत्तीसगढ़ के व्यजनों को ही शामिल करने के निर्देश दिए गए। साथ ही हस्तशिल्प के उत्पादों को बढ़ावा देने को कहा गया। कलेक्टर ने ईको टूरिज्म के क्षेत्र में प्लास्टिक पर पूर्णतः प्रतिबंध सुनिश्चित कराने के निर्देश भी दिए। बैठक में दिसम्बर माह के आस-पास बड़ा एडवेंचर इवेंट आयोजित करने के संबंध में भी चर्चा की गई।इ
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