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मंण्डी मजदुर रिशान महिलाओ ने संयुक्त रूप् से हस्ताक्षरीत ज्ञापन मे बताया की बिना वजह सिक्योरिटी गार्ड द्वारा हम गरीब मजदूरों का कार्य बंद करवा कर हम मजदूरों को परेशान किया जा रहा है। इस प्रकार के निर्णय से हम गरीब मजदूरों के ऊपर पेट भरने का संकट खड़ा हो गया है। यह कि व्यापारी गणों ने मंडी को उघोग बना दिया है तथा कई मशीनें मंडी परिसर में लगा दी गई है। जिससे हम मजदूरों को दुर्घटना का खतरा भी बना रहता है। एवं महिलाओं के चोटिल होने की संभावना भी है अगर व्यापारी गण को मशीनें स्थापित करनी है। तो उन्हें मंडी परिषद से दूर स्थापित करें एवं हम महिलाएं जिस भी व्यापारी बंधु के यहां कार्य करते हैं। उनके द्वारा हमारा बीमा भी नहीं करवाया गया है तथा कार्य भी 10 से 12 घंटे से जयादा करवाया जाता है, जबकि श्रम अधिनियम के तहत मजदूरों से मजदूरी मात्र 8 घंटे करवाए जाने के प्रावधान है, कृषि उपज मंडी एवं श्रम विभाग अधिनियम के तहत मजदूरों से मात्र 8 घंटे कार्य करवाए जाने का प्रावधान है कृषि उपज मंडी एवं श्रम विभाग अधिनियम के तहत मजदूरों का कार्य का समय निर्धारित किया जाए वर्तमान में व्यापारी गण द्वारा समय निर्धारित किया जा रहा है। यह कि हम महिला मजदूरों की मजदूरी वर्तमान में 240रू प्रति दिन है जिसको बढ़ाकर कलेक्ट्रेट रेट 333रू प्रतिदिन के हिसाब से व्यापारी गण से दिलवाई जाए तथा महिला मजदूरों के साथ गाली गलौज करने वाले और अभद्र व्यवहार करने वाले सुरक्षाकर्मी पर कड़ी कार्रवाई की जाए और जो व्यापारी महिलाओं से रात में जबरन कार्य करने के लिए दबाव बनाते हैं उनका लाइसेंस जप्त किया जाए तथा मंडी कमेटी द्वारा महिला सुरक्षा कर्मी को तैनात किया जाए।