सिद्धार्थ पांडेय
जबलपुर २ नवंबर ;अभी तक; सार्वजनिक वितरण प्रमाणी के तहत अमानक स्तर को चांवल वितरित किये जाने के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी। याचिका में मांग की गयी थी कि प्रदेष में हुए चांवल घोटाले की जांच स्वतंत्र एजेन्सी या सीबीआई से करवाई जाये। हाईकोर्ट के कार्यवाहक चीफ जस्टिस संजय यादव तथा जस्टिस व्ही के षुक्ला की युगलपीठ ने सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित करने के आदेष जारी किये है।
याचिकाकर्ता डाॅ पी जी पांडे तथा एम के खान की तरफ से दायर की गयी याचिका में कहा गया था कि प्रदेष में पीडीएस के तहत अमानक स्तर के चांवल सप्लाई का खुलासा केन्द्र सरकार की जांच रिपोर्ट से हुआ था। जांच रिपोर्ट के बाद केन्द्र सरकार कने राईस मिलर्स को ब्लैक लिस्ट कर कानूनी कार्यवाही करने के निर्देष दिये थे। याचिका में आरोप लगाते हुए कहा गया है कि केन्द्र सरकार के आदेषों का पालन राज्य सरकार द्वारा नहीं किया गया है। राज्य सरकार ने मामले की जांच ईडब्ल्यूडी को सौंपी है। पर्याप्त स्टाॅफ व संसाधनों की कमी के कारण ईडब्ल्यूडी की जांच प्रभावित होगी।
याचिका में कहा गया है कि केन्द्र सरकार द्वारा जारी आदेष का पालन सुनिष्चित करवाया। फूड सेफटी एक्ट में दिये गये प्रावधानों का पालन पीडीएस में किया जाये। इसके अलावा पूरी जांच किसी स्वतंत्र एजेन्सी या सीबीआई से करवाई जाये।
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