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लापता बेटी का पिता कार्यवाही नहीं होने पर फांसी पर झूला, चौकी प्रभारी निलंबित

अरुण त्रिपाठी

रतलाम २ अप्रैल ;अभी तक;  जिले के कालूखेडा थाना अंर्तगत आने वाले रानीगांव में बेटी के लापता होने के बाद कार्यवाही नहीं होने पर पिता ने फांसी लगा ली। उसका शव पेड़ पर लटका मिला। परिजनों ने पुलिस का विरोध करते हुए शव को साढ़े सात घंटे तक फंदे से उतारने नहीं दिया। एसपी राहुल कुमार लोढ़ा ने बाद में मावता चैकी प्रभारी एसआई प्रताप सिंह भदौरिया को निलंबित कर दिया।

रतलाम जिला मुख्यालय से करीब 50 किलोमीटर दूर रानीगांव निवासी 40 वर्षीय रामगोपाल पिता गंगाराम सांसरी ने पेड़ से फंदा बांधकर आत्महत्या कर ली। उसके परिजनों ने आरोप लगाया कि 6 मार्च को रामगोपाल की नाबालिग बेटी लापता हो गई थी। 8 मार्च को गुमशुदगी  दर्ज कराई थी, लेकिन पुलिस ने संदिग्धों की तलाश नहीं की। पुलिस के इस रवैए से आहत होकर उसने सुसाइड कर लिया। परिजन ने लापता बेटी और उसे ले जाने वालों को ढूंढकर लाने पर ही फंदे से शव उतारने देने पर अड गए। बाद में अधिकारियों की समझाइश पर शव फंदे से उतारकर पोस्टमॉर्टम के लिए जावरा के अस्पताल भेजा गया।

एसपी राहुल कुमार लोढ़ा ने बताया कि मृतक की बेटी की थाने में गुमशुदगी दर्ज है। इस मामले की सीएम हेल्पलाइन में भी शिकायत की गई थी। इस घटना के बाद परिजनों द्वारा मावता चैकी पर गंभीर आरोप लगाए जाने पर चैकी प्रभारी को निलंबित कर जावरा सीएसपी को  जांच के निर्देश दिए है। जांच रिपोर्ट आने के बाद अग्रिम कार्रवाई की जाएगी।
जावरा सीएसपी दुर्गेश आर्मों के अनुसार पिता के आत्म हत्या करने का कारण अभी अज्ञात है। 8 मार्च को मावता चैकी में नाबालिग की गुमशुदगी दर्ज है। लापता बेटी नाबालिग होकर करीब 15 से 16 वर्ष की है। मृतक रामगोपाल की मां, भाई और अन्य परिजन ने बेटी को ले जाने वाले संदेही को पकड़कर लाने की मांग की। पुलिस ने संदेही पक्ष के 2 लोगों को अभिरक्षा में लिया है। उनसे पूछताछ की जा रही है।

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