महावीर अग्रवाल
मन्दसौर २१ फरवरी ;अभी तक ; प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ़ एक्सीलेंस राजीव गांधी शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय मंदसौर में आज भारतीय ज्ञान परम्परा, हिन्दी एवं संस्कृत विभाग के संयुक्त तत्त्वावधान में अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस का आयोजन किया गया। मां सरस्वती के सम्मुख दीप प्रज्ज्वलन एवं माल्यार्पण कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया। महाविद्यालय की स्थानीय प्रबंधन समिति के अध्यक्ष श्री नरेश जी चंदवानी ने अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के अवसर पर विद्यार्थियों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि हमें अपनी मातृभाषा पर गर्व होना चाहिए ।
महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य डा.एस .पी. पवार ने अपने उद्बोधन में कहा कि मातृभाषा वह होती है जिसे व्यक्ति बचपन से अपने परिवार और समाज से सीखता है। उन्होंने मातृभाषा के महत्त्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि समस्त भारतीय भाषाएं अमूल्य हैं,हमें उन्हें प्राथमिकता देनी चाहिए और विलुप्त होने से बचा ना चाहिए। भारतीय ज्ञान परम्परा प्रकोष्ठ की प्रभारी डॉ. प्रीति श्रीवास्तव ने कहा कि भाषा हमारे भावों को अभिव्यक्त करने का एक सशक्त माध्यम है । भावों की अभिव्यक्ति मातृभाषा में ही सहज और सरल होती है अतः हमें अपनी मातृभाषा का सम्मान करते हुए उसका प्रयोग करने में कभी भी संकोच नहीं करना चाहिए। भाषाओं में हमारे देश की संस्कृति और परम्पराएं समाहित है। हिंदी विभाग की सहायक प्राध्यापक डॉ. सीमा जैन ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि प्रतिवर्ष 21 फरवरी को अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाया जाता है । इस दिवस को मनाने का उद्देश्य विश्व में भाषायी एवं सांस्कृतिक विविधता को बढ़ावा देना है । मातृभाषा हमारी धरोहर है और यह हमारी परंपरा व संस्कृति से जुड़ने का माध्यम है हमें अपनी मातृभाषा को वह सम्मान देना चाहिए जिसकी वह वास्तविक रूप से हकदार है । संस्कृत विभाग के सहायक प्राध्यापक प्रो. पंकज शर्मा ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि भाषा का एकमात्र उद्देश्य सरलता से अपने भावों को सम्प्रेषित करना है अतः आज बहुत से पाठ्यक्रम अपने-अपने क्षेत्र की मातृ भाषाओं में रूपांतरित किये जा रहे हैं जिससे कि उनका अध्ययन सरलता से किया जा सके । इस अवसर पर काव्य पाठ का आयोजन किया गया जिसमें हिंदी विभाग की डॉ. ज्योति डोसी एवं डॉ. नेहा दीक्षित ने मालवी भाषा में कविता प्रस्तुत की । विद्यार्थियों ने भी काव्यपाठ कर मातृभाषा के प्रति अपनी भावों को अभिव्यक्त किया। कार्यक्रम का कुशल संचालन विभागाध्यक्ष डॉ. ललिता लोधा ने किया तथा आभार वर्दीचंद राठौर ने माना। इस अवसर पर महाविद्यालय के प्राध्यापक एवं विद्यार्थीगण उपस्थित रहे।