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दशपुर रंगमंच ने दमदार आवाज के धनी महेन्द्र कपूर के दी गीतों भरी श्रद्धांजली

महावीर अग्रवाल 

मन्दसौर २८ सितम्बर ;अभी तक ;   दशपुर रंगमंच मंदसौर द्वारा प्रसिद्ध पार्श्व गायक महेन्द्र कपूर की पुण्यतिथि पर उनके गाये हुए गीतों की संगीतमय संध्या का आयोजन किया गया। महेन्द्र कपूर ने भारतीय संगीत पर एक अमिट छाप छोड़ी। उनकी दमदार आवाज उनके गायन की खासियत थी। श्री कपूर की पुण्यतिथि पर उनको गीतों से भी गीतांजली प्रस्तुत की।
                                   सतीश सोनी ने कपूर साहब के गीत ‘‘मेरा प्यार वो है जो मरकर भी तुमको जुदा अपनी बाहों से होने न देगा’’ सुनाकर संगीत संध्या की शुरूआत की। आबिद भाई ने प्रसिद्ध गीत ‘‘तुम अगर साथ देने का वादा करो’’ सुनाया। श्याम गुप्ता ने गीत ‘‘ नीले गगन के तले, धरती का प्यार पले’’ को प्रस्तुत किया।
                                  डॉ. महेश शर्मा ने गीत ‘‘आप आये तो खयाले दिले नाशाद आया’’ को सुरीले अंदाज में प्रस्तुत किया। सिमरन बेलानी ने गीत ‘‘दिल की ये आरजू थी कोई दिलरूबा मिले’’ को सुनाया। महेश त्रिवेदी ने गीत ‘‘चलो एक बार फिर से अजनबी बन जाये हम दोनों’’ सुनाया।
                                   अभय मेहता ने ‘‘लाखों ये यहां दिलवाले और प्यार नहीं मिलता’’ सुनाया। मीना जैन ने गीत ‘‘बीते हुए लम्हों की कसक साथ तो होगी’’ सुनाकर संगीत संध्या को गतिमान किया। आरक्षक नरेन्द्र सागोरे ने गीत ‘‘मेरे देश की धरती सोना उगले’’ सुनाकर देशभक्ति का जज्बा पैदा किया। ललिता मेहता व राजा भैया ने भी महेन्द्र कपूर के गाये गीत प्रस्तुत कर उन्हें श्रद्धासुमन अर्पित किये।
कार्यक्रम का संचालन अभय मेहता ने किया व आभार ललिता मेहता ने माना।

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