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सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से फोर्टीफाइड मिश्रित चांवल उपभोक्ताओं को वितरित किया जा रहा जिसे वे कालाबाजार में बेच रहे

आनंद ताम्रकार

बालाघाट ५ अक्टूबर ;अभी तक ;  बालाघाट जिले में सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से फोर्टीफाइड मिश्रित चांवल उपभोक्ताओं को वितरित किया जा रहा है उक्त चांवल राशन दुकानों के माध्यम से लेकर उपभोक्ता उसे कालाबाजार में बेच रहे है। कालाबाजारियों द्वारा खरीदा गया चांवल राइस मिलों में बेचा जा रहा है जिसे राइस मिलर्स कस्टम मिंलिग के नाम पर नागरिक आपूर्ति निगम को प्रदाय कर रहे है।

यह कारगुजारी खादय विभाग और राशन दुकानों के संचालक की सांठगांठ से खुलेआम की जा रही है। राशन का चांवल खरीदने वाले कालाबाजार में खुलेआम तौल काटां लगाकर चांवल खरीद रहे है।

इस संबंध में खादय विभाग के अधिकारियों से जब चर्चा की गई तो उन्होने कहा की यदि उपभोक्ता खरीदा गया राशन का चावल व्यापारियों को बेचता है तो उसपर हम कोई कार्यवाही नही कर सकते क्योंकि कोई नियम नही है। जिसके कारण कोई कार्यवाही उपभोक्ता पर की जा सके।

वही इसके विपरित जो व्यापारी उपभोक्ताओं से राशन का चावल खरीद रहे है उसमें फोर्टीफाइड चांवल मिला होने से व्यापारी से पूछा जा सकता की उक्त चावल आपके यहां कहा से आया लेकिन व्यापारियों को भी खादय विभाग का खुला सरक्षण मिला हुआ है। इस लिये यह गौरखधंधा पूरे जिले में खुलेआम चल रहा है। और शासन की योजना को पलीता लगाया जा है।

बालाघाट जिले के 40 फिसदी आबादी रोजगार की तलाश में जिले के बाहर अन्य प्रदेशों में चली गई है उनके नाम के राशन कार्ड राशन दुकानों के पास है उनके नाम पर ऐनकेन प्रकारेण राशन का चांवल वितरित किया जा रहा है। फिंगर मशीन को खराब होना बताकर फर्जी वितरण बताया जा रहा है।

यह उल्लेखनीय है की केन्द्र सरकार के द्वारा प्रदेश में उन जिलों में फोर्टीफाइड चांवल वितरित किया जा रहा है जहां कुपोषण का अनुपात ज्यादा है। लेकिन उक्त फोर्टीफाइड चांवल उपभोक्ताओं ना वितरित किया जाकर चांवल की कालाबाजारी की जा रही है। और उपभोक्ताओं को पौष्टीकता से पूर्ण फोर्टीफाइड चांवल उपलब्ध ही नही हो रहा है। इन विसंगतियों के चले कुपोषण पर अकंूश कैसे लगेगा।

यह भी पता चला है की जो उपभोक्ता राशन का चांवल लेने आतें है उनसे ओटीपी लेकर वहीं पर राशन दुकानदार अधिक कीमत देकर खरीद लेता है। फिर वह व्यापारियों के यहां बेचा देता है। अनेक स्वसहायता समूह द्वारा इस तरह का फर्जी चांवल का वितरण किया जा रहा है लेकिन खादय विभाग के आला अफसर इस फर्जीवाडे़ की अनदेखी कर रहे है। इस प्रकार कालाबाजार में बिकने वाले राशन की चांवल की रिसाइकिंलिंग कर राइस मिलर्स कस्टम मिंलिग के नाम पर फोर्टीफाइड चांवल खपा रहे है।

यह भी जानकारी मिली है की राशन दुकानों का नियमित निरीक्षण खादय विभाग द्वारा नही किये जाने से अनेक दुकानों में राशन की अफरा तफरी भी की जा रही है। जिला प्रशासन फोर्टीफाइड चांवल की कालाबाजारी और राशन दुकानों में किये जा रहे फर्जीवाडें पर त्वरित अंकूश लगाये जाने की पहल करें।

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