सफेद-गुलाबी रंग में नहीं छपवा सकेंगे डमी मत पत्र:EC के निर्देश- कैंडिडेट्स वोटर्स को समझाने तैयार करा सकेंगे EVM डमी बैलेट यूनिट

विधानसभा चुनाव में मतदाताओं को जानकारी देने राजनैतिक दल या उम्मीदवार EVM की डमी बैलेट यूनिट तैयार कर सकते हैं। डमी मत पत्र को भी भूरा, पीला या धूसर रंग में छपवा सकते हैं। लेकिन, चुनाव आयोग ने अपने निर्देश में स्पष्ट किया है कि सफेद या गुलाबी रंग में डमी मत पत्र नहीं छपवा सकते हैं।

आर्य समय संवाददाता,भोपाल।  डमी मत पत्र को भी भूरा, पीला या धूसर रंग में छपवा सकते हैं। लेकिन, चुनाव आयोग ने अपने निर्देश में स्पष्ट किया है कि सफेद या गुलाबी रंग में डमी मत पत्र नहीं छपवा सकते हैं।

पीला, धूसर या भूरा रंग का होना चाहिए 

वोटर्स को शिक्षित करने के उद्देश्य से डमी बैलेट यूनिटों को तैयार करने पर कोई आपत्ति नहीं है। ऐसी डमी बैलेट यूनिट लकड़ी, प्लास्टिक या प्लाई बोर्ड बाक्स की हो सकती है, लेकिन इसका आकार शासकीय बैलेट यूनिट के आकार का आधा होना चाहिए। इसे पीला, धूसर या भूरा रंग का होना चाहिए। डमी बैलेट यूनिटों में मतपत्र की तरह अभ्यर्थी का क्रम संख्या, नाम एवं प्रतीक चिन्ह को दिखाने की व्यवस्था भी हो सकती है। इसमें बैटरी चालित बटन या लैंप भी हो सकता है जो दबाने पर जलेगा।

 वास्तविक मतपत्र की साइज नहीं हो 

निर्वाचन आयोग के निर्देशों के मुताबिक डमी मतपत्र का आकार भी वास्तविक मतपत्र के जैसा नहीं होना चाहिए। चुनाव लड़ रहे उम्मीदवार प्रचार अभियान में इस्तेमाल के लिए डमी मतपत्र भी छपवा सकते हैं, लेकिन इसका रंग और आकार वास्तविक मतपत्रों के सदृश्य नहीं होना चाहिए। ऐसे डमी मतपत्रों पर उम्मीदवार उस स्थान पर जहां वे वास्तविक मतपत्र में उपस्थित होंगे उसको दर्शाते हुए अपने नाम एवं प्रतीक का उपयोग किया जा सकेगा। लेकिन, इनमें उस निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे दूसरे उम्मीदवारों का नाम या प्रतीक नहीं होना चाहिए।

पर्ची में उम्मीदवार या पार्टी का नाम, चुनाव चिन्ह न हो 

आयोग ने स्पष्ट किया है कि चुनाव लड़ रहे राजनैतिक दल अथवा उम्मीदवार यदि मतदाताओं की सुविधा के लिए उन्हें मतदाता पर्ची जारी करते हैं तो ऐसी पर्चियों में उम्मीदवार का नाम या उसके राजनैतिक दल का नाम एवं चुनाव चिन्ह नहीं होना चाहिए। आयोग के मुताबिक ऐसी मतदाता पर्ची सादे कागज पर ही होनी चाहिए तथा पर्चियों में किसी दल या उम्मीदवार को मत देने के लिए कोई नारे या आह्वान भी नहीं होना चाहिए। आयोग के मुताबिक मतदान केंद्र के 200 मीटर के दायरे के भीतर किसी नारे या आह्वान वाली पर्ची व्यवस्था को मत याचना माना जाएगा, जिसकी अनुमति नहीं है।