अपात्रो को मुआवजा दिये जाने को लेकर सौपा ज्ञापन
दीपक शर्मा
पन्ना १५ अक्टूबर ;अभी तक ; ललितपुर सिंगरौली रेल्वे लाईन में किसानों की जमीन भूमि का अधिग्रहण किया जा रहा है लेकिन भूअर्जन की राशि कुछ ऐसे किसानों को दी जा रही है जिनका न तो भूमि पर कब्जा है और न ही उनकी जमीन अधिग्रहण की गई है। यह जमीन रेल्वे लाईन से काफी दूर है और इनका भूअर्जन में मुआवजा बनाया गया है जो नियम विरूद्ध है, .
उक्त मामले को लेकर स्थानीय लोगो ने जिला कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौपकर मामले की जांच कराने तथा पात्रो को मुआवजा देने एवं अपात्रो के नाम मुआवजा राशि से काटे जाने की मांग की है। दिये ग ये ज्ञापन में बताया गया कि ग्राम कटरा निवासी प्रागी गौड़ पिता भोटा गौड़ के नाम पर वर्ष 1989-90 में व्यवस्थापन आवंटन में बिना मौके जांच के पट्टा दे दिया गया। जबकि वर्ष 1984-85 में उक्त भूमि का पट्टा राम लखन पटेल को दिया गया था जिसका सीमांकन एवं तरमीम दिनांक 08.11.1986 को किया गया था। जिसका आराजी नंबर 1095/2ग है। पूर्व में 1095 का 21.431 हे0 है उसके पूर्व यह भूमि 137 हे0 लगभग थी जिसमें बंजर पहाड़ दर्ज है एवं वनभूमि है। नवीन राजस्व ग्राम कटरा बनने से गलत तरमीम की गई है जिसकी पुष्टि प्रागी पिता भोटा गौड़ दिये गये आवेदन से होती है। प्रागी गौड़ पिता भोटा को वर्ष 1989-90 में 0.05 हे0 जिसका नवीन नंबर 308 है, प्रागी को पुनः दिनांक 26.03.1992 में दोबारा नंबर 1095/2घ में 0.850 हे0 का पट्टा दिया गया। इस प्रकार दोबारा वर्ष 1999-2000 में पुनः 2.000 हे0 लगभग 5 एकड़ का पट्टा दोबारा दे दिया गया। प्रागी गौड़ का कभी कब्जा नहीं था इस बात की पुष्टि दिये गये आवेदन से होती है। नवीन ग्राम कटरा बनने के बाद से संयुक्त दल द्वारा संयुक्त निरीक्षण नहीं किया गया और मनमाने तरीके से जिन किसानों का कब्जा भी नहीं है तथा जिनकी भूमि रेल्वे ट्रेक से काफी दूर है फिर भी उनका भूमि व्यवस्थापन में दर्ज कर मुआवजा दिये जाने की योजना स्थानीय कर्मचारीयों द्वारा बनाई गई है। उक्त मामले में तत्कालीन पटवारी की भूमिका भी संदिग्ध है। संबंधित नें मामले की जांच कराकर कार्यवाही करने की मांग की है तथा जो पात्र है उन्हे मुआवजा दिया जाये।