स्वास्थ्य शिविर मे डॉक्टर-नर्स को परोसा घटिया भोजन,

मयंक शर्मा

खंडवा २९ फरवरी ;अभी तक;  बुधवार को  जिले के आदिवासी अंचल खालवा ब्लॉक में जिला प्रशासन ने बुधवार को आयोजित स्वास्थ्य शिविर में डॉक्टर और उनकी देखभाल के लिए मौजूद नर्सों को ही घटिया भोजन परोस दिया गया,। भोजन में  डॉक्टर और नर्सों को दो पूरी और आलू की सब्जी खाने के लिए दी गई थी, जिससे नाराज होकर डॉक्टर और नर्सिंग स्टाफ ने  हड़ताल  कर दी और अपनी कुर्सियों को छोड़ सभी एक जगह एकत्र हो कर बैठ गए।
खालवा ब्लॉक में पदस्थ डॉक्टर नरेंद्र ने बताया कि खाने की कोई व्यवस्था नही थी और सुबह आठ बजे से सभी डॉक्टर और स्टाफ स्वास्थ्य शिविर में मौजूद थे। हमें पहले से नहीं बताया गया था कि खाना साथ में लेकर आना है और यहां जो खाना मिला वह सही नहीं था।
उधर जिला स्वास्थ्य  अधिकारी अेा पी जुगतावत ने कहा कि  घर से भोजन नहीं लेकर आने के चलते उपजी अव्यवस्था है। उन्होने इसका दोषारोपण जिला पंचायज पर करते हुये उसे  भोजन व्यवस्था का जिम्मेवार बताया।कलेक्टर अनूप कुमार सिंह की पहल पर   विशाल स्वास्थ्य शिविर का आयोजन किया गया था, जिसमें कई बड़े विशेषज्ञ डॉक्टरों को बुलाया गया था।
डॉक्टर ओपी जुगतावत से पूछा गया कि डॉक्टरों का आरोप है कि भोजन की क्वॉलिटी ठीक नहीं है और इसमें भेदभाव भी किया जा रहा है। तब इसको लेकर उन्होंने कहा कि  जो व्यवस्था है प्रशासनिक  है। सभी को अपना  काम करना है। , जब उनसे पूछा गया कि सभी स्टाफ ने कुर्सियां छोड़ दी हैं और कोई भी काम करने को तैयार नहीं है, तब उन्होंने कहा कि नहीं-नहीं, सभी लोग काम करेंगे और ऐसा कुछ है तो कल अलग से व्यवस्था जमा लेंगे। प्रशासन को लेकर उनका मतलब जिला पंचायत की इोर था।  सभी डॉक्टर बाहर से आए हैं और हड़ताल पर चले गए हैं, काम नहीं कर रहे हैं, और अलग खड़े हो गए हैं। तब ऐसे में स्वास्थ्य शिविर कैसे चलेगा, जिस पर वह इस सवाल को टालते हुए सहज लहजे में बोले की  व्यवस्था हो जाएगी।
शिविर 28.29 फरवरी याने दो दिवसीय है। शिविर का क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं इन्दौर डॉ. आर.सी. पनिका व सयुंक्त संचालक डॉ. शरद गुप्ता, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत  शैलेन्द्र सिंह सोलंकी एवं एस.डी.एम. हरसूद  मुकेश काशिव ने हिस्सेदारी की।
शिविर में महात्मा गांधी स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय इन्दौर, अरविन्दो मेडिकल कॉलेज इन्दौर, मेडिकल कॉलेज खंडवा, जिला चिकित्सालय खंडवा, आई.एम.ए. खंडवा के निजी चिकित्सक, पेरी-फेरी के चिकित्सकों, निजी पैथालॉजी, पैरामेडिकल स्टॉफ, सी.एच.ओ. व आशा कार्यकर्ता, आशा सहयोगी सहित लगभग 600 स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं ने सेवाएं दी।

पहले दिन शिविर को लेकर डॉ. ओ.पी. जुगतावत ने बताया कि  बुधवार को 4744 से अधिक मरीजों का स्वास्थ्य परीक्षण कर निःशुल्क दवाईयों का वितरण किया गया।  शिविर में राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम तहत हृदय रोग से ग्रसित 70 बच्चों की ईको की जांच की गई, जिसमें से 24 बच्चों को दिल में सुराग की निःशुल्क सर्जरी के लिए उच्च स्वास्थ्य संस्था में भेजा गया व 22 बच्चों को सर्जरी हेतु 6 माह बाद भेजा जायेगा।

शिविर में स्त्री रोग के 229, शिशु रोग के 98, असंचारी रोग के 230, कैंसर रोग के 3, कार्डियोलॉजी के 13, अस्थमा के 14, दंत रोग के 99, नाक कान गला रोग के 93, मानसिक रोग के 24, अंधत्व निवारण के 426, मलेरिया के 12, क्षय के 52, कुष्ठ के 3, चर्म रोग के 48, जनरल मेडिसीन के 1877, आयुष विभाग के 737 मरीजों का परीक्षण कर उपचार किया गया।  शिविर में 56 नागरिकों की हेल्थ आईडी व 18 पात्र हितग्राहियों के आयुष्मान कार्ड व 33 दिव्यांगता प्रमाण-पत्र बनाये गये। इसके अलावा शिविर में 24 नागरिकां ने रक्तदान किया।
शिविर में महात्मा गांधी स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय के रेडियोडायग्नोसिस विभाग से डॉ. अभिषेक कोटवाल, डॉ. निवेदिता प्रजापति, डॉ. प्रियांक द्विवेदी, डॉ. हेमा धाकड़, डॉ. मो. रिजवान, डॉ. प्रज्ञा शर्मा, डॉ. सुधा चंदना, डॉ. अनिल रेड्डी, डॉ. हेमन्त यादव, डॉ. श्रीकान्त शुक्ला, डॉ. देवांशी जोशी, दंत रोग विभाग से डॉ. पुनीत गुप्ता, डॉ. अस्मिता डाटला, डॉ. रिचा नागर, डॉ. अमृता बंसल, डॉ. सविता सिलाले, डॉ. अभिषेक बिजोलिया, डॉ. साईना एस, डॉ. मनीष डेहरिया, डॉ. नंदिनी तिवारी, डॉ.सविता सिलाले, डॉ. उमेश धनोतिया तथा मेडिकल कॉलेज सह जिला चिकित्सालय खंडवा से नाक-काल-गला विशेषज्ञ डॉ. अनिरुद्ध कौशल, हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ.शक्ति सिंह राठौड़, दंत रोग विशेषज्ञ डॉ. राकेश रेवारी, शिशु रोग विभाग से डॉ. भूषण बांडे, डॉ. राकेश खेड़ेकर, डॉ. गगन दिलावरे, स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. कोमल छाबड़ा, डॉ. रुपलता पटेल, मनोरोग विशेषज्ञ डॉ. संजय इंगले, क्षय रोग विशेषज्ञ डॉ. नितिन कपूर, नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ.शिखा कुड़ापे, मेडिकल विशेषज्ञ डॉ. दीपशिखा इवने, एवं डॉ. सुनिल बाजोलिया, डॉ. रंजित बड़ोले व अन्य विभाग के चिकित्सा विशेषज्ञों सहित नर्सिंग ऑफिसर, फार्मासिस्ट, लेब टेक्निशियन एवं सी.एच.ओ. ने सेवाएं दी।