88 वी त्रिमुर्ति शिव जयंती एवं अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अन्तर्गत ब्रह्माकुमारी में मनाया महाशिवरात्री महोत्सव

महावीर अग्रवाल
मंदसौर ६ मार्च ;अभी तक;  88 वी त्रिमुर्ति शिव जयंती एवं अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अन्तर्गत प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविघालय के स्थानीय आत्म कल्याण भवन में महाशिवरात्री महोत्सव मंदसौर जिले की संचालिका बीके उषा के सानिध्य में मनाया गया। समारोह राज्यसभा सांसद बंशीलाल गुर्जर के मुख्य आतिथ्य में सम्पन्न हुआ। विशेष अतिथी के बतौर मंदसौर के प्रमुख व्यवसाई गीताजंली इंटरप्राइजेस के संचालक मनीष मुजावदिया, प्रो, वीणा सिंह व डॉ श्वेता पाण्डेय उपस्थित थी। इस अवसर पर बीके श्यामा दीदी एवं बीके हेमलता दीदी भी मंचस्थ थी।
समारोह को संबोधित करते हुए मंदसौर जिले की संचालिका बीके उषा ने बताया कि संसार में दुःख और अशांति का वातावरण बढता हीं जा रहा है जिसमें मनुष्य आत्माओं ने परमात्मा को पुकारा है और परमात्मा का अवतरण हुआ यह परमात्मा का वचन भी है जब धर्म की हानी होती है परमात्मा का अवतरण होता है। परमात्मा शिव ने नारी को आधार बनाया और आज नारी शक्ति शिव शक्ति के रूप में कार्य करती है। आपने कहा कि  शिव की शक्ति साधारण नहीं है, नारी सबला है अबला नहीं, नारी ऐसी शक्ति है जिसकी पूजा देवियों के रूप में हो रहीं है, नारी लक्ष्मी, सरस्वती, काली, जगदम्बा है। नारी शक्ति ही पूरे संसार का उत्थान कर रहीं है लेकिन कई जगहों पर नारी को भोग का साधन बनाकर दीन-हीन बना दिया है परन्तु फिर भी नारी शक्ति आज ऊचाईयों पर जा रहीं है। नारी वह दिव्य शक्ति है जो दुर्गा कहलाती है उसके सामने पुरूष भी हाथ जोड़कर शक्ति मांगता है, धन मांगता है। नारी अबला नहीं बल्कि दिव्य शक्ति है।  नारी साधारण नहीं बल्कि समाज की धूरी है, नारी ने ही शिक्षक बनकर शिक्षा दी है, पूरे घर को संभालती है।
राज्यसभा सांसद बंशीलाल गुर्जर ने कहा कि नारी का स्थान सबसे महत्वपूर्ण है। कहते है माता भुवनेश्वरी से प्रेरणा प्राप्त करके ही परमात्मा सृष्टि कां संचालन परमात्मा करता है। पृथ्वी पर सबसे सुन्दर कृति मनुष्य है, 84 लाख योनियों में भ्रमण के बाद मनुष्य योनी मिलती है, मनुष्य यदि अपने स्वधर्म का पालन करते हुए यदि परमात्मा के बताऐ मार्ग पर चले तो मोक्ष की प्राप्ति कर सकता है। आपने कहा कि हमारा घर भी स्वर्ग है यदि हम घर के सदस्यों के प्रति सकारात्मक विचार रखते है तो उन तरंगों से घर स्वर्ग बन जाता है। इसलिए प्रत्येक व्यक्ति सकारात्मक ऊर्जा के माध्यम से अपने परिवार को स्वर्ग बनाने का प्रयास करें ।
गीताजंली इंटरप्राईजेस के संचालक मनीष मुजावदिया ने कहा कि नारी का स्थान सबसे महत्वपूर्ण है, जीवन में ऊचाईयो पर जाने की प्रेरणा भी एक नारी ही देती है जिसे मैने स्वयं अपने जीवन में महसूस किया है मेरी माताजी की ही प्रेरणा से आज व्यापार में सफलता मिल रहीं है।
प्रो वीणा सिंह ने कहा कि नारी शक्ति स्वरूपा होती है, बाबा लेखराज को शिव अंतरण के लिए परमात्मा ने चुना तो उन्होंने उस ज्ञान में आने के बाद अपन सर्वस्व दान करके बीजारोपण किया ओर उसमें नारी शक्ति को चुना उन्हें दादी और बहन की पदवी दी। घर की प्रमुखा दादी और अपना पन देने वाली बहने हमें सकारात्मकमता के मार्ग पर आगे बढा रहीं है।
डॉ श्वेता पाण्डेय ने कहा कि नारी शक्ति है जिसमें ऊर्जा का अपार भण्डार होता है जिस प्रकार ब्रह्माकुमारी संस्थान में जिस तरह की सकारात्मक ऊर्जा है इसें अपने आसपास फैलाने की आवश्यकता है उसी प्रकार नारी में जो अशक्ति है उसे भी फैलाने की आवश्यकता है ।
बीके श्यामा दीदी ने परमात्मा के परिचय से अवगत कराया और कहा कि 88 वर्ष पूर्व परमात्मा का धरती पर अवतरण हुआ था। सर्वशक्तिवान परमात्मा एक ऐसी दूनिया बनाने का कार्य कर रहे है जिसकी हम कल्पना कर रहे है जिसमें चैन की बंशी बजे।
स्वागत उदबोधन बीके श्रीपाल ने देते हुए संस्था द्वारा किए जा रहे कार्यो के बारे में बताते हुए राजयोग की महत्ता का उल्लेख किया और कहा कि राजयोग एक ऐसा माध्यम है जिससे व्यक्ति अपने जीवन में सकारात्मकता लाकर अपनी आत्मा के दिव्य गुणों को जागृत कर सकता है और भय, तनाव और चिंता से मुक्त जीवन जी सकता है।
प्रारंभ में अतिथियों का स्वागत बीके हेमलाता, बीके विघुतलता दीदी ने बेच और बुके भेट कर दिया। इससे पूर्व बीके आकांशा ने गीत प्रस्तुत किया। अतिथियों ने परमात्मा का ध्वज फहराकर शिवरात्री महोत्सव का शुभारंभ किया। समारोह का संचालन बीके हेमलता ने किया आभार श्रीमती बिंदु चंद्रे ने माना