महिला द्वारा दूसरी शादी करने के बाद न्यायालय ने पहले पति से गुजारा भत्ता लेने पर रोक लगाई
मयंक शर्मा
खंडवा २५ सितम्बर ;अभी तक ; एक महिला द्वारा दूसरी शादी करने के बाद भी पहले पति संदीप से हर महीने 25सौ रूपये गुजारा भत्ता जबरन लेने का भेद पर से प्रदेश सरकार की ें लाड़ली लक्ष्मी योजना ने पर्दा उठाया तो यहां न्यायालय ने अपना ही फैसला बदल दिया और दिया जा रहा भरण पोषण रकम पर रोक लगा दी।
महिला के पहले पति संदीप ने बताया कि ताजा फैसला सोमवार का है। उसने बताया कि कोर्ट के आदेश पर वह 12 दिसंबर 2018 से प्रतिमाह 2500 रुपए गुजारा-भत्ता देता आ रहा था। महिला सोनू ने साल 2020 में नरेन्द्र प्यारेलाल के साथ दूसरी शादी कर ली। तलाके लिये बिना दूसरी शादी करने के बाद भी कोर्ट व उसे धोखे में रखकर गुजारा भत्ता लेती रही। कोर्ट ने पूरे सबूतों के आधार पर भरण पोषण देने के अपने पूर्व के आदेश को सोमवार को रद्द कर दिया है।
लाडली लक्ष्मी योजना की किश्त को सबूत बनाकर महिला के षंडयंत्र को न्यायालय पटल पर रखने के बाद सबूत को मान्य कर कोर्ट ने अपना ही फैसला बदल दिया। संदीप ने बताया कि वह करीब 5 साल से गुजारा भत्ता दे रहा था लेकिन अब ऐसी सच्चाई सामने आई जिसके बाद कोर्ट ने अपना फैसला बदलते हुए महिला से भरण पोषण का हक छीन लिया है।
पूरा मामला यू है कि सोनू नाम की महिला की ब्याह सीहोर निवासी संदीप किरार के साथ 2018 में हुआ लेकिन इनके बीच विवाद हुआ और दोनों अलग हो गए । महिला सोनू ने खंडवा कुटुंब न्यायालय में भरण पोषण के लिए आवेदन दिया। कोर्ट ने प्रकरण सुनवाई के बाद 12 दिसंबर 2018 से प्रतिमाह 2500 रुपए गुजारा-भत्ता देने के आदेश पति संदीप को दिया और पांच साल से वी रकम देता आ रहा था।
आरोपी महिला सोनू ने साल 2020 में दूसरा बार विवाह नरेन्द्र प्यारेलाल कर लिया लेकिन इसके बाद भी पहले पति संदीप से हर महीने गुजारा भत्ता लेती रही।दूसरे पति नरेन्द्र प्यारेलाल से महिला सोनू गर्भवती हुई और उसने 26 नवंबर 2022 को एक बेटी को जन्म दिया। बेटी का पंजीयन महिला एवं बाल विकास में कराकर लाड़ली लक्ष्मी का लाभ लेना शुरू कर दिया। स्वयं भी लाड़ली बहना योजना का लाभ ले रही हैं।